Nainital-Haldwani News

एसएसपी जन्मेजय खंडूरी ने डीएसबी के छात्रों को पढ़ाया पत्रकारिता का पाठ

हल्द्वानी: सोमवार को नैनीताल जिला एसएसपी जन्मेजय खंडूरी नैनीताल विश्वविद्यालय डीएसबी परिसर के पत्रकारिता विभाग में पहुंचे। एसएसपी को अपने बीच पाकर पत्रकारिता के छात्र खासा उत्साहित नजर आए। एसएसपी जन्मेजय खंडूरी ने पत्रकारिता के छात्रों से समाज सुधार कार्यों के बारे में बात की। उन्होंने कहा कि आज पत्रकारिता को लोकतंत्र का चौथा स्तंभ कहा जाता है। समाज सुधार के लिए पत्रकारों का खासा योगदान रहता है और रहा है। उन्होंने कहा कि युवा पीढ़ी को पत्रकारिता की गहराई को समझने की जरूरत है।

एसएसपी जन्मेंजय खंडूरी ने छात्रों को इस क्षेत्र में काम करने के कई टिप्स दिए। उन्होंने छात्रों से कहा कि आपकों किसी एक डिपार्टमेंट में विशेषज्ञ बनने की जरूरत है। इसे आप अपने लक्ष्य की ओर ज्यादा केंद्रित हो पाएंगे। उन्होंने कहा कि पत्रकार और पुलिस की साझेदारी किसी से नहीं छिपी है।

इस साझेदारी से ही समाज में शांति व्यवस्था बना सकते हैं। एसएसपी जन्मेजय खंडूरी ने कहा कि अपने काम के दौरान आपको कई तत्व मिलेंगे जो रास्ते से भटकाने की कोशिश करेंगे लेकिन अगर आप सच्चे पत्रकार होंगे तो कोई भी ताकत आपको नकारात्मक दिशा की ओर नहीं लेजा सकती है। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ वक्त में समाज के प्रति मीडिया का रोल बढ़ा है तो पित पत्रकारिता ने भी अपना रंग दिखाया है जो समाज के हित में नहीं है। 

एसएसपी जन्मेजय खंडूरी को पत्रकारिता विभाग के छात्र विकास क्टूरा द्वारा पलायन पर डायरेक्ट की गई फिल्म पहला कदम दिखाई गई। एसएसपी ने फिल्म की प्रशंसा करते हुए कहा कि अगर आज का युवा इस पलायन की मार को समझेगा तो पहाड़ में हो रहा पलायन रुक सकता है। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड के युवा विभिन्न क्षेत्रों में देश भर में राज्य का नाम रोशन कर रहे है और इस तरफ भी ध्यान देने की जरूरत है।

 

हमें अपने पहाड़ की रीति रिवाज़ और संस्कार अगली पीढ़ी को भी देने है और कार्य उसी दिशा में होना चाहिए। इस दिशा में युवा पत्रकारों का महत्व और बढ़ जाता है क्योंकि जैसा मीडिया दिखाता है वैसा जनता देखती है। इस मौके पर पत्रकारिता विभाग के अध्यक्ष डॉक्टर गरीश रंजन तिवारी ने एसएसपी जन्मेजय खंडूरी का छात्रों को कीमती समय देने के लिए धन्यवाद किया। उन्होंने कहा कि जो बातें पत्रकारिता को लेकर एसएसपी जन्मेजय खंडूरी ने बताई जो किसी किताबों में नहीं मिल सकती वो केवल अनुभव के साथ ही आएंगी लेकिन उस दिशा में काम करने की जिम्मेदारी युवा पत्रकार की होनी चाहिए।

To Top